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समिति प्रबन्धक के आत्महत्या का कारण हैं अब तक अज्ञात, सैकड़ों कट्टा धान के हीरा फेरी होने की बात आ रही है सामने

संवाददातारवि दुबे

सोसायटी में धान खरीदी बंद होने के बाद भी रात में 2 ट्रैक्टर धान किसने लाया और क्यों लाया इस पर लगा प्रश्न चिन्ह

संयुक्त संघ जिला अध्यक्ष ने निष्पक्ष जॉच की मांग


डोंगरगढ़ पुलिस कर रही है जांच

राजनांदगांव जिले के डोंगरगढ़ विधानसभा के अंतर्गत आने वाले ग्राम छिपा के सेवा सहकारी समिति मर्यादित छिपा के समिति प्रबन्धक गोवर्धन वर्मा ने विगत दिनों आत्महत्या कर लिया आत्महत्या का कारण अब तक अज्ञात है जिसकी जांच को लेकर संयुक्त संघ के जिला अध्यक्ष ने निष्पक्ष जॉच का मांग किया है।

पूरा मामला सेवा सहकारी समिति के प्रबन्धक गोवर्धन वर्मा ने विगत दिनों अपने घर पर फासी लगाकर आत्महत्या किया जिसका कारण अज्ञात रहा है पुलिस जांच में जुटी हुई है।
      पूरे मामला में अब कई तथ्यों पर प्रश्न वाचक चिन्ह लग रहा है  छिपा सोसायटी में खरीदी की गई धान जिसका कंप्यूटर के डाटा में स्टॉक बराबर मात्रा में दर्ज हैं । साथ ही डाटा एंट्री ऑपरेटर ने भी बताया की धान खरीदी बराबर मात्रा में हुई हैं जिसका रिकार्ड कंप्यूटर में दर्ज हैं  अगर रात के समय सोसायटी से धान निकला होगा या फिर सोसायटी में धान आया होगा तो वो चौकीदार की जवाबदारी हैं।

    वही रोचक बात यह है कि सोसायटी प्रबन्धक के आत्महत्या करने के 5 दिन पूर्व रात को 2 ट्रेक्टर में भरकर धान सोसायटी में डम्मप किया गया , जबकि धान खरीदी तो कबका बन्द हो चुका है।

चौकीदार का कहना है की सोसायटी प्रबन्धक द्वारा आत्महत्या के पूर्व मुझे जानकारी दी थी की धान आने वाला है खाली करवा देना इसके अतिरिक्त मुझे अन्य जानकारी नहीं है

ट्रेक्टर किसकी है सैकड़ों कट्टा धान किसने लाया ये जानकारी किसी भी कर्मचारियों को नही है। रात में देखरेख करने वाले चौकीदार को भी कोई जानकारी नहीं है कि ये धान किसका है किसके ट्रेक्टर से धान रात में आया है ।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार धान कमी और गोवर्धन वर्मा के आत्महत्या मामले में पर्दे के पीछे कोई और हैं जिसे सामने नही लाया जा रहा है। धान की कमी एक सीमित अनुपात तक कम हो सकता है । लेकिन इतनी भारी मात्रा में नही।

संयुक्त संघ के जिला अध्यक्ष ईश्वर श्रीवास ने मीडिया को बताया की सेवा सहकारी समिति मर्यादित छीपा के अध्यक्ष ने जो आत्महत्या किया है इस पर्दे के पीछे कोई और हैं जिसे सामने लाना चाहिए जॉच निष्पक्ष होनी चाहिए क्योंकि धान का साटेज़ होना धान का गुण हैं। लेकिन इससे आत्महत्या नही किया जा सकता , कारण कुछ और हैं । हम संघ के लोगों ने कलेक्टर को भी निष्पक्ष जॉच के लिए ज्ञापन दिया हैं कलेक्टर ने भी निष्पक्ष जॉच कर कार्यवाही करने की बात कही है।

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